लखनऊ। पारा में हरदोई कोर्ट से पेशी से लौटे युवक ने कमरे में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली थी। आत्महत्या करने से पहले युवक ने चार पन्नों का सुसाइड नोट लिखा था जिसमे युवक ने लिखा था कि रूपरानी तुम खुश रहना,मैं जा रहा हूँ। युवक की पत्नी ने गुजारा भत्ता के लिए केस किया था। आत्महत्या करने से पहले युवक ने चार पन्ने का सुसाइड नोट लिखा था जिसमे पत्नी सहित ससुरालियों पर झूठे मुकदमों में फसाने के चलते प्रताड़ित होने का आरोप लगाया था। मृतक के पिता ने 16 नामजद लोगों पर मुकदमा दर्ज कराया है।
पारा न्यू काशीराम कॉलोनी निवासी मृतक राम मिलन (33) के पिता सुखराम कश्यप ने मृतक की पत्नी रूपरानी, साले धर्मवीर,नीरज विजेंद्र,ससुर हरिबाबू सहित सोलह लोगों पर नामजद मुकदमा दर्ज कराया है। सुखराम के अनुसार मृतक बेटे ने सुसाइड नोट में लिखा है कि कभी तुम्हारे साथ मारपीट नही की फिर भी तुमने झूठे मुकदमे में फंसा दिया। रूपरानी तुमने मुझे मरने पर मजबूर कर दिया। शादी के बाद से वह पत्नी के साथ ससुराल में रह रहा था। पत्नी रूपरानी का अपने जीजा और उनके लड़को के साथ नाजायज संबंध थे जिसका पता राम मिलन को चल गया था। वही एक्सीडेंट के झूठे मामले में भी फसाने का आरोप लगाया है। कुछ लोगों की उधारी रकम वापस करने को भी लिखा है।
राम मिलन ने सुसाइड में लिखा है कि उसकी लाश को पत्नी सहित कोई भी ससुरालीजन हांथ न लगाएं। अगर पत्नी बेटे को दे दे तो उसी से चिता में आग लगवाना। मौत के जिम्मेदार पत्नी रूपरानी उसके घरवाले और दीदी एवं जीजा सहित उनके लड़के है।
क्या था मामला
पारा निवासी राम मिलन की शादी छह साल पूर्व शाहाबाद हरदोई निवासी रूपरानी से हुई थी। तभी से वह ससुराल में रह रहा था। रूपरानी ने चार माह पूर्व पति पर दहेज प्रथा का मुकदमा मंझिला थाने में दर्ज कराया था। गुजारा भत्ता को लेकर राम मिलन हरदोई कोर्ट में पेशी पर गया था। पेशी से वापस पारा स्थित घर आकर कमरे में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली थी. इस्पेक्टर बृजेश वर्मा ने बताया कि मुकदमा दर्ज कर जांच पड़ताल की जा रही है। सुसाइड नोट को जांच के लिए भेजा गया है।