जयपुर, (हि.स.)। सावन के बाद अब भाद्रपद की शुरुआत में तेज गर्मी सताने लगी है। वातावरण में शुष्कता पचास फीसदी तक पहुंच गई है। मौसम विभाग के पूर्वानुमान के अनुसार बंगाल की खाड़ी और दक्षिणी अरब सागर में सक्रिय हो रहा सिस्टम उत्तर और उत्तर-पश्चिम की ओर बढ़ता है तो 12 सितम्बर को राजस्थान के अनेक क्षेत्रों में हल्की और छितराई बारिश हो सकती है।
इस साल अगस्त में मानसूनी सीजन के दौरान पर्याप्त बारिश नहीं हुई। इस कारण अब तापमापी का पारा बढ़ रहा है। अगस्त के अंतिम सप्ताह में बारिश नहीं होने के कारण सितम्बर की शुरूआत में ही तेज गर्मी असर दिखा रही है। सितंबर में गर्मी से लोगों को आराम मिलना शुरू हो जाता है, लेकिन इस बार ऐसा नहीं हो पा रहा है। जन्माष्टमी के समय सर्दी जन्म ले लेती है। इस पर्व को अब महज पांच दिन शेष हैं लेकिन मौसम में अचानक ऐसा बदलाव हुआ है कि सितंबर में मई जैसे हालात हैं। सूरज की किरणें सीधी धरा पर आ रही हैं, जो लोगों का ताप बढ़ा रही हैं। तापमान लगातार बढ़ रहा है। इसके कारण समझ नहीं पा रहे हैं। हालांकि, वैज्ञानिकों के तर्क हैं कि दो से तीन दिन में इस गर्मी से राहत मिल सकती है।
प्रदेश में मई में तापमान 35 डिग्री से लेकर 45 डिग्री सेल्सियस तक रहता है। वहीं सितंबर में तापमान 37 डिग्री चल रहा है। सिंचाई विभाग के अनुसार मानसून 15 जून से लेकर 15 सितम्बर तक रहता है। अब मानसून विदाई की ओर है। इस साल मानसून के जाने से पहले ही बांधों का पानी भी रसातल में पहुंचने लगा है।