नई दिल्ली, (हि.स.)। विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (यूजीसी) ने उन विश्वविद्यालयों पर सख्त कार्रवाई करने का फैसला किया है, जिसने अभी तक विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (छात्रों की शिकायतों का निवारण) विनियम-2023 में दिए गए लोकपाल की नियुक्ति पर उसके पिछले निर्देशों का पालन नहीं किया है।
यूजीसी ने एक पत्र में कहा है कि सभी विश्वविद्यालयों को लोकपाल नियुक्त करके छात्र शिकायत निवारण समिति (एसजीआरसी) का गठन करके नियमों का पालन करना आवश्यक है। हालांकि, यह समझा जाता है कि कुछ विश्वविद्यालयों को अभी भी नियमों का पालन करना बाकी है।
यूजीसी के सचिव मनीष आर. जोशी ने केंद्रीय, राज्य, निजी और डीम्ड विश्वविद्यालयों के कुलपतियों को पत्र लिखा है। इसमें विश्वविद्यालयों को तुरंत लोकपाल नियुक्त करने और 31 दिसंबर 2023 को या उससे पहले यूजीसी विनियमों के अन्य प्रावधानों को लागू करने के लिए कह गया है।
पत्र में कहा गया है कि चूंकि विश्वविद्यालयों को पर्याप्त अवसर प्रदान किए गए हैं, इसलिए 31 दिसंबर 2023 के बाद यूजीसी की वेबसाइट पर डिफ़ॉल्ट विश्वविद्यालयों के नाम प्रकाशित करने का निर्णय लिया गया है। उल्लेखनीय है कि यूजीसी ने इस साल 11 अप्रैल को आधिकारिक राजपत्र में विश्वविद्यालय अनुदान आयोग (छात्रों की शिकायतों का निवारण) विनियम-2023 को अधिसूचित किया था।