पश्चिमी उत्तर प्रदेश अधिवक्ता एसोसिएशन ने की पुलिसकर्मियाें पर कार्रवाई की मांग
गाजियाबाद, । दिल्ली से सटे गजियाबाद की जिला काेर्ट में मंगलवार को एक जमानत के मामले में अधिवक्ता व जिला जज के बीच जमकर बहस हो गयी। जिसके बाद जमकर हंगामा हुआ। भारी हंगामे के बीच पुलिस केे पहुंचने पर मामला और ज्यादा बढ़ गया। जिसके बाद पुलिस को लाठी चार्ज करना पड़ा, जिससे कई वकील घायल हो गए।पश्चिमी उत्तर प्रदेश अधिवक्ता एसोसिएशन ने पुलिसकर्मियाें के खिलाफ कार्रवाई करने की मांग की है।
बताया गया कि जिला जज अनिल कुमार की काेर्ट में मंगलवार सुबह एक जमानत अर्जी ट्रांसफर करने की मांग पर जिला जज अनिल कुमार और पूर्व बार अध्यक्ष नाहर सिंह यादव के बीच बहस हो गई। इसके बाद जिला जज डायस से नीचे आ गए। आरोप है कि कहासुनी के बाद जिला जज से बदसलूकी की गई। भारी हंगामे के बीच कोर्ट रूम में पुलिस को बुलाना पड़ा। वकीलों ने हंगामे के दौरान कामकाज बंद कर दिया। सूचना मिलते ही ग्राउंड फ्लोर पर तैनात पीएसी के जवान भी पहुंच गए और जमकर लाठी चार्ज किया। इसी दौरान कचहरी में भगदड़ मच गई, जिसके बाद वकीलों ने जिला न्यायालय में वकीलों ने नारेबाजी शुरू कर दी। इसी बीच पुलिस चौकी में आग लगने की सूचना से अफरा-तफरी का माहौल बन गया। वकीलों का आरोप है कि जिला जज कोर्ट रूम में उन्हें चारों तरफ से दरवाजे बंद करके पीटा गया, जिसमें बड़ी संख्या में अधिवक्ता गंभीर रूप से घायल हुए हैं।
इस घटना पर पश्चिमी उत्तर प्रदेश अधिवक्ता एसोसिएशन ने नाराजगी व्यक्त की है। इसके साथ ही लाठीचार्ज के दोषी अधिकारियों और पुलिस कर्मियों के विरोध दंडात्मक कार्रवाई की मांग की है। उनका कहना है कि अगर ऐसा नहीं किया गया तो पुलिस प्रशासन के विरुद्ध प्रखर आंदोलन किया जाएगा। इसी बीच एसोसिएशन ने इस संबंध में एक बैठक भी बुलाई है।