शारदीय नवरात्रि की शुरुआत 15 अक्टूबर (रविवार) से हो चुकी है। नवरात्रि के 9 दिन मां दुर्गा के 9 रूपों की पूजा की जाती है। आज नवरात्रि का दूसरा दिन है। यानी की आज दिन मां ब्रह्मचारिणी का है। ब्रह्मचारिणी अर्थात् तप का आचरण करने वाली देवी हैं। मां दुर्गा का यह रूप बेहद शांत, सौम्य और मोहक होता है।
जीवन में बनेगी शांति
नवरात्रि के दूसरे दिन मां ब्रह्मचारिणी की पूजा करने से व्यक्ति को सदाचार जैसे गुण प्राप्त होते हैं। माता ब्रह्मचारिणी को अनुशासन और दया की देवी भी कहा जाता है। माता ब्रह्मचारिणी की पूजा–अर्चना से परिवार में शांति बनी रहती है। मां दुर्गा के इस रूप की पूजा करने से जीवन में स्थिरता आती है। जीवन में हर प्रकार की परेशानी का सामना करने की हिम्मत मिलेगी।
इस भोग से प्रसन्न होंगी माता
नवरात्रि के दूसरे दिन की स्वरूप मां ब्रह्मचारिणी को गुड़हल और कमल का फूल बेहद पसंद है। आज के दिन के पूजा की शुरुआत इन्हीं फूलों से की जाती है। मां ब्रह्मचारिणी को चीनी और मिश्री का भोग बेहद पसंद है। मां को भोग में चीनी, मिश्री और पंचामृत चढ़ाएं। माता को प्रसन्न करने के लिए आप उन्हें दूध और दूध से बने पदार्थ भी चढ़ा सकते हैं।
नवरात्रि में पंचामृत का महत्व
नवरात्रि के नौ दिन के पूजन के दौरान माता की पूजा के लिए चीनी, शहद, दही, घी और गाय के दूध से बने खाद्य पदार्थों का एक पारंपरिक मिश्रण बनाया जाता है। यह आमतौर पर पूजा में प्रसाद के रूप में परोसा जाता है। इसे 5 पदार्थों के मिश्रण से बनाया जाता है, इसीलिए इसे पंचामृत कहते हैं।