सीतापुर। क्या कोई इतना बेरहम भी हो सकता है कि महज गाड़ी खड़ी करने को लेकर किसी की नृशंस हत्या कर दे लेकिन सीतापुर जिले के महोली थाना क्षेत्र में कुछ बेरहम हत्यारों ने पूर्व प्रधान की निमर्मता से हत्या कर उन्हें मौत के घाट उतार दिया। यही नहीं हत्यारों का जब दिल जब इतने से नहीं भरा तो उन्होंने मौत के आगोश में समा रहे पूर्व प्रधान के शरीर को घसीटा भी। बेरहमी से लगभग मौत में समा चुके पूर्व प्रधान को सीतापुर ले जाया गया। जहां से चिकित्सकों ने उन्हें लखनऊ रेफर कर दिया जहां ट्रामा सेंटर में उनकी मौत हो गई।
घटना रविवार की है। कोतवाली महोली की ग्राम पंचायत अढ़ौरी के पूर्व प्रधान राजीव प्रकाश मिश्र रविवार को अपने ननिहाल देवरिया गए थे। जहां पर गाड़ी खड़ी करने को लेकर मामा के पड़ोसियों से झगड़ा हो गया। देखते ही देखते बात बढ़ने लगी। इसी बीच करीब 10 लोगों ने पूर्व प्रधान पर धावा बोल दिया और लाठी-डंडों के साथ धारदार हथियार से प्रहार कर दिया। हमले में पूर्व प्रधान गंभीर रूप से घायल होकर अचेत हो गए। प्राथमिक उपचार के बाद उसे ट्रामा सेंटर लखनऊ रेफर कर दिया गया। इलाज के दौरान देर रात उसकी मौत हो गयी। पुलिस ने 10 लोगों के खिलाफ केस दर्ज किया है। वहीं चार आरोपियों को हिरासत में ले लिया है। उधर अपने भांजे से मारपीट होते देख मामा का परिवार उसे बचाने आया। राजीव को बेरहमी से पिटता देख उसके मामा-मामी व अन्य लोगों ने बचाने की काफी कोशिशें की। जिसमें वह लोग भी बुरी तरह घायल हो गए। मामा बसंत व उनकी पत्नी रेशम देवी को जिला अस्पताल सीतापुर रेफर कर दिया गया, जबकि ममेरी बहन शिल्पी को उपचार के बाद छुट्टी दे दी गई। कोतवाल महोली प्रभारी अनूप शुक्ला ने बताया कि तहरीर के आधार पर 10 लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है। चार आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया गया है। शेष लोगों की गिरफ्तारी के लिए प्रयास किया जा रहा है
लूट, हत्या समेत कई धाराओं में केस दर्ज
पिता योगेंद्र द्वारा दी गयी तहरीर में उनके पुत्र से 25 हजार रुपये लूटने का भी आरोप लगा है। पुलिस ने लूट, हत्या समेत कई धाराओं में मुकदमा पंजीकृत किया है। पुलिस ने तहरीर के आधार पर विकास, कान्हा, अश्वनी, रामप्रकाश, विमल किशोर, मोहित, रामनरेश, बट्टू, गुर्जर व लंगू के नाम केस दर्ज किया है। जिनमें से रामू, धीरू, कान्हा, पट्टू को गिरफ्तार कर लिया है।
काफी समय से दोनों परिवारों के बीच थी रंजिश
परिजनों ने बताया करीब ढाई माह पूर्व भी इसी परिवार के साथ विवाद हुआ था। उस दौरान भी दोनों पक्षों की तरफ से मारपीट हुई थी। महोली पुलिस ने सिर्फ खानापूर्ति कर मामले को रफादफा कर दिया था। बताते हैं पहले दोनों परिवारों से काफी अच्छे संबंध थे। वर्ष 2005 में प्रधानी के चुनाव में दोनों के बीच किसी बात को लेकर अनबन हुई थी। जिससे दोनों परिवारों में दरार पड़ गई थी।